माध्यमिक परिषद उत्तर प्रदेश की सचिव नीना श्रीवास्तव की ओर से जारी निर्देश में कक्षा-9/11 में अग्रिम पंजीकरण कराने वाले एवं हाईस्कूल एवं इण्टरमीडिएट की परीक्षा में सम्मिलित होने वाले छात्र/छात्राओं के शैक्षिक विवरणों को आनलाइन अपलोड कराने के सम्बन्ध में प्रधानाचार्यों के लिये स्पष्ट निर्देश है कि सभी छात्राओं के शैक्षिक विवरणों यथा उनके नाम, माता/पिता के नाम उनकी स्पेलिंग, जन्मतिथि, चयनित विषयों के कोड एवं अन्य आवश्यक विवरणों को विद्यालयी अभिलेखानुसार (प्रवेश आवेदन पत्र, एस०आर० रजिस्टर) के अनुसार जांचकर पूर्णरूपेण शुद्धता के साथ आनलाइन अपलोड कराया जाय इतने स्पष्ट निर्देशों के चावजूद बहुत से प्रधानाचार्यों द्वारा इसको गम्भीरता से नहीं लिया जा रहा है जिससे छात्र/छात्राओं के शैक्षिक विवरणो अशुद्ध अपलोड कर दिये जा रहे हैं। इसके साथ ही अपलोड हुये विवरणों की आनलाइन निर्गत चेकलिस्ट/नामावली को भी न तो ठीक से देखा जा रहा और न ही उनकी जांचकर अशुद्धियों का सुधार किया जा रहा है। यह स्थिति अत्यन्त ही खेदजनक है।
किसी भी छात्र/छात्रा के शैक्षिक विवरण अशुद्ध होने पर इसका दूरगामी नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। उदाहरणार्थ छात्र के चयनित विषयों को अशुद्ध अपलोड करने पर परीक्षाओं की तैयारी करने के साथ ही साथ परीक्षाफल तैयार करने में परिषद के समक्ष काफी कठिनाईयाँ उत्पन्न होती है। विषय अशुद्ध होने पर परीक्षा केन्द्र पर अशुद्ध विषयों के प्रश्नपत्र पहुंच जाते हैं। इसके पश्चात् परीक्षा केन्द्र से सही प्रश्नपत्रों की मांग आने पर परिषद द्वारा पृथक से पुनः शुद्ध प्रश्नपत्रों के पैकेट सम्बन्धित परीक्षा केन्द्रों को उपलब्ध कराने पड़ते हैं, जिसमें कमी-कभी सूचना के अभाव में अथवा समयाभाव के कारण प्रश्नपत्र प्रेषित न हो पाने की स्थिति छात्र/छात्राओं की परीक्षायें छूट जाती है।
इसके साथ ही विषय परिवर्तन होने की रिथति में छात्र/छात्राओं के परीक्षाफलों के अपूर्ण रह जाने की भी सम्भावनायें हो जाती हैंजो किसी भी दृष्टिकोण से न तो परिषद के हित में है और न ही छात्र/छात्राओं के हित में है इसी प्रकार छात्र/छात्राओं के नामों, उनके माता/पिता के नामों की स्पेलिंग, जन्मतिथि आदि अशुद्ध हो जाने की स्थिति में छात्र/जाओं को उरी शुद्ध कराने के लिये अपने धन/समय एवं श्रम का अपव्यय करतं हुए परिषद के क्षेत्रीय कार्यालयों की अनावश्यक परिक्रमा करनी पड़ती है और कठिनाईयों उठानी पड़ती है। परिषद को भी उनके पूर्व निर्गत प्रमाणपत्र / अकपत्र को निरस्त कर सशोधित प्रमाणपत्र / अंकपत्र निर्गत करना पड़ता है साथ ही स्थायी अभिलेखों में संशोधन करने एवं उन्हें नेट पर अपडेट कराने की कार्यवाही भी करनी पड़ती है। माननीय उच्च न्यायालय के निर्णयानुसार वर्ष 2020 की हाईस्कूल एवं इण्टरमीडिएट परीक्षा के उत्तीर्ण छात्र/वाओं को जो प्रमाणपत्र दिये जायेंगे उनमें छात्र/छात्राओं के नाम उनके माता/पिता के नाम एंव अन्य आवश्यक विवरण अग्रेजी के साथ ही साथ हिन्दी में भी मुद्रित होगें। वर्ष 2020 की परीक्षा में सम्मिलित होने वाले वे संस्थागत छात्र/छात्रा जिन्होंने गत् सत्र 2018-19 में कक्षा-9/11 में पंजीकरण कराया था, उनके नामों तथा उनके माता/पिता के नामों को वर्ष 2020 की परीक्षा हेतु प्रधानाचार्यों की सुविधा के लिये गूगल हिन्दी साफ्टवयर के माध्यम से हिन्दी में परिवर्तित करा दिया गया था।
इस व्यवस्था से अवगत कराते हुए परिषद के पत्राक: मा०शि०प०/सिस्टग रोल/304 दिनांकः 25-07-2019 द्वारा जिला विद्यालय निरीक्षकों के माध्यम से समस्त प्रधानाचार्यों को इस आशय का निर्देश विस्तृत रूप में दिये गये थे कि सॉफ्टवेयर के माध्यम से अंग्रेजी से हिन्दी में कन्वर्ट किये गये नामों की गहनता से जांच कर उसमें परिलक्षित होने वाली अशुद्धियों को आनलाइन ही शुद्ध कर दें। इतने स्पष्ट निर्देशों के बावजूद भी देखा जा रहा है कि बहत से प्रधानाचार्यों ने सम्यक रूप से हिन्दी नागों में संशोधन नहीं कराये हैं, यह बहुत ही चिन्ताजनक एव खेदजनक स्थिति हैअतः उक्त के आलोक में छात्र/छात्राओं के शैक्षिक विवरणों को शुद्ध कराने की अनिवार्यता/ अपरिहर्याता के दृष्टिगत आवश्यक कार्यवाही करने हेतु निग्नवत् निर्देश प्रदान किये जाते हैं :
1- जनपद के समस्त प्रधानाचार्यों को तत्काल स्पष्ट निर्देश दे दिये जायें कि सत्र 2019-20 के कक्षा-9/11 के अग्रिम पजीकरण एवं वर्ष 2020 के हाईस्कूल एवं इण्टरमीडिएट से सम्बन्धित समस्त संस्थागत एवं व्यक्तिगत छात्र/छात्राओं के शैक्षिक विवरणों से सम्बन्धित आनलाइन निकाली गयी नामावली का मिलान विद्यालयी अभिलेखों यथा प्रदेश आवेदनपत्र/एस0आर0 रजिस्टर से कराकर सभी प्रकार के संशोधनो को पहले चिन्हित कर ले। इसके पश्चात प्राप्त संशोधनों को परिषद की वेबसाइट upmsp.edu.in पर दिनाक. 15 नवम्बर,2019 तक अपलोड/अपडेट कर दे। 2- उपर्युक्त समरत प्रकार के संशोधनों हेतु वेवसाइट दिनांक: 20-10-2019 से क्रियाशील हो जायेगी।
संशोधनों के अन्तर्गत पात्र/छात्राओ के नाम, उनके माता/पिता के नाम उनकी स्पेलिंग जन्मतिथि, रोक्स कोड, कास्ट कोड, गीडियम कोख, परीक्षार्थी टाइप, चयनित विषय/वर्ग छात्राओं की त्रुटिपूर्ण फोटो आदि विविध प्रकार को सशोधनों को अपडेट किया जा सकेगा। शत्र/छात्राओं के शैक्षिक विवरणो के संशोधन अब कोयल आनलाइन ही स्वीकार किये जायेगें विद्यालयो द्वारा भेजे गये किसी भी प्रकार के आफलाइन संशोधन/शुद्धिपत्र क्षेत्रीय कार्यालयों में स्वीकार नहीं किये जायेंगे। 5- विवरण संशोधनों के अन्तर्गत बिना किसी युक्ति-गका कारण के किसी भी छात्र/छात्रा के विवरणों मे पूर्ण परिवर्तन किया जाना प्रतिबन्धित है। बिना किसी युक्ति-युक्त कारण के किसी विद्यालय के प्रधानाचार्य द्वारा यदि इस प्रकार का पूर्ण विवरण परिवर्तन सम्बन्धी संशोधन किया जाता है तब क्षेत्रीय कार्यालय द्वारा परीक्षणोपरान्त ऐरो सगी सशोधनों को निरस्त कर दिया जायेगा।
इसके साथ ही साथ इसके लिए सम्बन्धित विद्यालय के दोषी प्रधानाचार्य के विरूद्ध विनियमानुसार दण्डात्मक कार्यवाही भी की जा सकती है। विद्यालय के समस्त छात्र/छात्राओं के शैक्षिक विवरणों को संशोधन परिषद की वेबसाइट पर विद्यालयी अभिलेखानुसार जाचकर बिल्कुल सही-सही अपडेट/अपलोड करा दिये गये तथा अब एक भी सशोधन/त्रुटि अदर्शय नही है इस आशय का एक प्रमाणपत्र समस्त विद्यालयों के प्रधानाचार्यों एवं अग्रसारण केन्द्र के प्रधानाचार्यों से अवश्य ले तथा उन्हें सकलित कर परिषद कार्यालय को उपलब्ध करा दें।
जनपद के समस्त विद्यालयों की कक्षा-9 से 12 तक के छात्र/छात्राओं की निकाली गयी आनलाइन नामावलियों में मुदित पात्र/छात्राओं के विवरणों की जाच विद्यालय के एस0आर0 रजिस्टर से जिला विद्यालय निरीक्षकों द्वारा गठित टीम के गाध्यम से प्रत्येक टीम को आवश्यकतानुसार विद्यालय आवटित करके दिनांक 15 दिसम्बर 2019 तक करा लेना अनिवार्य होगा।
जिनमें से कतिपय विद्यालयों के एस०आर० रजिस्टर की रैण्डम जाच जिला विद्यालय निरीक्षको द्वारा स्वयं की जायेगी। जिससे कि विद्यालयों में किसी प्रकार से काई बोगरा पजीकरण न हो सके और विद्यालयों में सम्यक पठन-पाठन सुनिश्चित हो सके।